




ब्यूरो,ऋषिकेश
रामायण प्रचार समिति तुलसी मानस मंदिर में चल रहे 40 वें वार्षिकोत्सव में उत्तराखंड सहायक शिक्षा निदेशक व संस्कृत शिक्षा चंडी प्रसाद घिल्डियाल ने संस्कृत को महत्व देते हुए संस्कृत पाठकों का आभार जताया। कहा इस तरह के आयोजन जहां समाज को अपने धर्म और संस्कृति से जोड़ने काम करते हैं। वहीं युवाओं को आगे बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं वही बुजुर्गों का सम्मान करते हुए आदर्श प्रस्तुत करते हैं।
उत्तराखंड सहायक शिक्षा निदेशक एवं संस्कृत शिक्षा संदीप प्रसाद दयाल ने सामाजिक क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य कर रहे सम्मानित जनों का तुलसी मानस मंदिर में राम नाम का दुपट्टा पुष्पहार स्मृति चिन्ह देखकर स्वागत अभिनंदन कर सम्मानित किया गया किया। तुलसी मानस मंदिर के महंत रवि प्रपन्नाचार्य महाराज ने बताया कि पंजाबी महासभा, वरिष्ठ नागरिक कल्याण संगठन, सारथी सामाजिक सामाजिक संस्था, श्री गंगा सेवा पर्यावरण सुरक्षा समिति संस्थाओं को सम्मानित किया गया। इसमें सम्मानित होने वाले केवल कृष्ण लांबा,मदन मोहन शर्मा,सुभाष कोहली, नवल कपूर, अमृत लाल कालरा, अजय कालरा, हरीश आनंद, पंकज चावला, रमेश अरोड़ा, चन्द्र मणि शुक्ला, श्याम अरोड़ा, अजय भट्ट, ब्रह्म कुमार शर्मा, राम चौबे अभिषेक शर्मा रमाकांत भारद्वाज श्याम अरोड़ा तनुज अरोड़ा सम्मानित किया गया।
वही राम कथा के आठवीं दिन कथा वाचक युवराज स्वामी गोपालाचार्य महाराज ने कहा रामायण मे राम राज्याभिषेक की कथा मे कहा कि भगवान राम ने आसक्ति पर शक्ति की जीत का परचम लहराया पूरी सृष्टि को आसुरी शक्तियों से मुक्त कराया। प्रातः कालीन बेला में नवाहन पाठ के व्यास पंडित वेद प्रकाश मिश्रा ने संगीत में वाद्य यंत्रों के साथ ऋषि कुमारो को रामायण का पाठ कराया।

