



– दोनों शूटर और जेल में बंद अपराधियों के बीच डीलिंग में शामिल था आरोपी
– थाना मुनिकीरेती के तपोवन स्थित डेक्कन वैली में 7 मई को हुई थी वारदात

मृतक नितिन देव
ब्यूरो, ऋषिकेश
जनपद टिहरी गढ़वाल के थाना मुनिकीरेती के तपोवन स्थित डेक्कन वैली में 7 मई की देर रात अपने कैफे से वापस लौट रहे रिसोर्ट स्वामी की दो अज्ञात लोगों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। गोली मारने वाले दो लोग स्कूटी में सवार होकर फरार हो गए थे। इस मामले की पूरी तफसीस करने के बाद सनसनीखेज जानकारी सामने आई है। नितिन देव की हत्या का षड्यंत्र रचने में जेल में बंद उन्हीं का पड़ोसी शामिल था। जेल के भीतर से ही उसने योजना को अंजाम दिया। जेल में शातिर अपराधियों के जरिए उसने दो शूटर को हायर किया। इन शूटर से बातचीत कर मध्यस्थता करने वाले अपराधी को पुलिस ने गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की है। पुलिस ने दोनों भाड़े के हत्यारों की भी पहचान कर ली है।
मृतक नितिन देव पुत्र देवराज मूल रूप से नोएडा उत्तर प्रदेश के रहने वाले थे। तपोवन स्थित डेक्कन वैली में उनका अपना पिछले 10 वर्षों से फ्लैट है। उनका चीला भोगपुर में जीवन उत्सव में रिजॉर्ट है, ऋषिकेश के वीरभद्र मार्ग आस्था पथ पर उनका हाइडआउट नाम से पर कैफे भी है। 7 मई बुधवार की देर रात वह अपने फ्लैट में लौट रहे थे तो फ्लैट के पास ही दो बदमाशों ने उन पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी, इसके बाद वह स्कूटी से फरार हो गए। प्रारंभिक जांच में पूरे मामले को संपत्ति विवाद से जोड़कर देखा जा रहा था। पुलिस की अलग-अलग टीम में विभिन्न बिंदुओं पर जांच कर रही थी। जांच करने के बाद जो तथ्य सामने आए वहां यकीनन चौंकाने वाले हैं।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक टिहरी गढ़वाल आयुष अग्रवाल ने बताया कि नितिन देव की हत्या के मामले में विमलेश उर्फ विकास जयप्रकाश निवासी ग्राम सारण थाना शाहपुर जिला भोजपुर बिहार को गिरफ्तार किया गया है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने बताया कि डेक्कन वैली सोसाइटी को लेकर नितिन देव का वहीं रहने वाले एक अन्य व्यक्ति विपिन नय्यर पुत्र सुरेंद्र कुमार के साथ विवाद चल रहा था। सोसाइटी में वर्चस्व को लेकर यह विवाद था। विपिन नय्यर को सितंबर 2024 में कोतवाली ऋषिकेश से पोक्सो के एक मामले में जेल भेज दिया गया था। 6 महीने जेल में रहने के बाद वह जनवरी के महीने जमानत में बाहर आया था। उसे इस बात का संदेह था कि इस मामले में उसे नितिन देव ने फंसाया है। उसे इस बात का भी यकीन हो चुका था कि पोक्सो के मामले में संबंधित महिला को नितिन देव सहयोग कर रहा था। हत्या का सारा ताना-बाना इसी के द्वारा बुना गया। शातिर दिमाग विपिन नय्यर, नितिन देव की हत्या से कुछ दिन पूर्व 24 अप्रैल को जमानत तुड़वाकर फिर जेल चला गया था।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने बताया कि जेल में उसके संबंध देहरादून रायपुर, डोभाल चौक में शामिल हत्या के आरोपी रामवीर सिंह निवासी मीरापुर,मुजफ्फरनगर और मनीष पुत्र राजनारायण से हुए। जेल से बाहर आने के बाद इन अपराधियों के यहां विपिन का आना-जाना हुआ। पुलिस के अनुसार विपिन ने रामबीर के साथी विमलेश उर्फ विकास जयप्रकाश निवासी ग्राम सारण थाना शाहपुर जिला भोजपुर बिहार से संपर्क किया।
गिरफ्तार विमलेश ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि विपिन नय्यर के साथ उसकी कई बार कश्मीरी गेट दिल्ली और द्वारका मेट्रो स्टेशन दिल्ली सहित ऋषिकेश में मीटिंग हुई। उसने दो शूटर को विपिन नगर से मिलवाया विपिन ने नितिन देव की हत्या करने पर उन्हें काफी धनराशि और मकान देने का पल्लवन दिया। कई दिन तक नितिन देव की रेकी करने के बाद 7 मई की रात इन्होंने नितिन देव की हत्या कर दी।


