



– उत्तराखड पंचायती राज अधानियम के अनुपालन को आयोग स्वयं है जिम्मेदार:हाईकोर्ट
देहरादून-उत्तराखंड:
राज्य निर्वाचन आयोग उत्तराखंड की ओर से बीते रोज स्त्री स्त्री पंचायत चुनाव के तहत प्रतीक चिन्ह आवंटन की प्रक्रिया को स्थगित कर दिया गया था। राज्य निर्वाचन आयुक्त सुशील कुमार की ओर से जारी किए गए आदेश में प्रतीक चिन्ह आवंटन की प्रक्रिया सोमवार 2:00 बजे से शुरू कर दी गई है, शाम 6:00 बजे तक यह प्रक्रिया जारी रहेगी। यह प्रक्रिया मंगलवार सुबह 8 बजे शुरू होकर शाम कार्य समाप्ति तक जारी रहेगी।

उधर उच्च न्यायालय नैनीताल में सोमवार को मामले की सुनवाई हुई। त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में दोहरी मतदाता सूची वाले मतदाताओं को लेकर चल रहे विवाद पर हाईकोर्ट सोमवार को कोई स्पष्ट आदेश नहीं दिया। चुनाव आयोग की ओर से दाखिल प्रार्थना पत्र पर सुनवाई के दौरान मुख्य न्यायाधीश जी नरेंद्र और न्यायमूर्ति आलोक मेहरा की खंडपीठ ने मौखिक रूप से कहा कि 11 जुलाई को दिया गया आदेश उत्तराखड पंचायती राज अधानियम के अनुरूप है। ऐसे में आयोग स्वयं अधिनियम अनुपालन के लिए जिम्मेदार है। कोर्ट ने स्पष्ट किया कि पंचायत चुनाव की प्रक्रिया पर कोई रोक नहीं लगाई है। केवल चुनाव आयोग के 6 जूलाई को जारी सर्कुलर पर स्थगन आदेश दिया गया है। आयोग ने अपने सर्कुलर में कहा था कि जिन मतदाताओं के नाम ग्राम पंचायत की मतदाता सूची में हैं उन्हें मतदान करने या चुनाव लड़ने नहीं रोका जाए। पंचायती राज अधिनियम की धारा (6) व 9(7) के अनुसार, यदि किसी मतदाता का नाम शहरी और ग्रामीण दोनों मतदाता सूचियों में दर्ज है, तो वह पंचायत चुनाव में मतदान करने या चुनाव लडने के लिए अयोग्य होगा। इसी आधार पर कोर्टने 11 जुलाई की आयोग के सर्कुलर पर रोक लगा दी थी। वहीं दूसरी और चुनाव आयोग ने हाईकोर्ट में एक प्रार्थना पत्र दायर कर 11 जुलाई के आदेश में संशोधन की मांग की।


